लॉकर में रखे 18 लाख रुपए दीमक ने खाए, ऐसे मामले में RBI के नए नियम जाने

पहले बैंक लॉकर के कुछ चिंतित करने वाले मामलों को जाने। इसी सप्ताह में यूपी के मुरादाबाद शहर में बैंक ऑफ बड़ौदा (BoB) के लॉकर से 18 लाख रुपयों की नकदी को दीमको ने खा लिया।

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Reported by Sheetal

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हर कोई बैंक या फिर बैंक के लॉकर (Bank Locker) में रखे पैसो को सुरक्षित मानता है लेकिन ऐसा सोचना गलत है। बीते कुछ दिनों में मुरादाबाद के बैंक ऑफ बरोडा की शाखा के लॉकर में 18 लाख के नोट को दीमक चट कर गई। ऐसे मामले को सुनकर हर कोई पैसों के वापस मिलने के बारे में जरूर पूछेगा।

बैंक के लॉकर में लोगो को अपनी कीमती चीजों और कागजात से लेकर नकदी तक रखते देखा गया है। लोग घर या दूसरी जगहों से ज्यादा इन लॉकर्स को अधिक सेफ मानते है। किन्तु हाल के ही दिनों के कुछ मामलो के बाद ये जानना जरुरी हो जाता है कि बैंक के लॉकर में रखी चीजों की गारण्टी बैंक के ऊपर होती है या नहीं?

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लॉकर से जुड़े कुछ मामले

पहले बैंक लॉकर के कुछ चिंतित करने वाले मामलों को जाने। इसी सप्ताह में यूपी के मुरादाबाद शहर में बैंक ऑफ बड़ौदा (BoB) के लॉकर से 18 लाख रुपयों की नकदी को दीमको ने खा लिया। यह देखकर महिला कस्टमर ने बैंक के मैनेजर से मामले की कंप्लेंट की। पीड़ित का कहना है कि उन्होंने लॉकर में गहनों के साथ ये रुपए भी रखे थे, अब बैंक जाँच की बात कह रहा है।

एक दूसरा केस हरियाणा राज्य के अम्बाला से आया था जिसमे एक सहकारी बैंक में चोरी की वारदात हुई और चोरो ने बैंक के 32 लॉकर्स में रखी ज्वेलरी एवं दूसरे कीमती सामने पर हाथ साफ़ कर दिया। अभी भी गए सामानो का अनुमान लग रहा है।

RBI ने नया नियम बनाया

आरबीआई की तरफ से बैंक लॉकर्स को लेकर एक सर्कुलर भी आया था जिसमे इसके नियम-कायदे लिखे थे। इसमें नियम है कि बैंक को सभी लॉकर के मालिकों के साथ अपना अनुबंध जनवरी 2023 तक पुनरक्षित करना था। अब RBI ने लॉकर (Bank Locker) के मालिकों से अनुबंध के रिनीवल की अंतिम तिथि 31 दिसंबर तक बढ़ाई है।

नए नियम को जाने

नए नियम के मुताबिक़ बैंक को सभी खाली एवं वोटिंग के लॉकर्स की सूची को दिखाना अनिवार्य होगा। साथ बैंक को अपने ग्राहक से लॉकर्स के लिए एक टाइम पर अधिकतम 3 वर्षो का किराया लेने की अनुमति है। अब बैंक लॉकर मालिक को होने वाली हानि के लिए शर्तो की बात कहकर मना नहीं करेगा बल्कि भरपाई करेगा।

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बैंक को लॉकर की जिम्मेदारी लेनी होगी

आरबीआई के नए नियम के अनुसार, बैंक ये स्पष्ट करेगा कि उसके द्वारा हो रहे लॉकर के अनुबंध में कोई भी अनुचित शर्ते न हो जोकि कस्टमर को हानि होने पर बैंक को बचाती हो। लॉकर के नुकसान में बैंक पूर्णतया जिम्मेदार होंगे और बैंक को अपने परिसर की सेफ्टी को भी तय करना होगा।

बैंक लॉकर में ये रख सकेंगे

अब नए नियम के अनुसार बैंक लॉकर में मालिक केवल गहने, कागजात एवं क़ानूनी रूप से सही वस्तुएँ ही रख सकते है। लॉकर को सिर्फ मालिक ही खोल सकता है किन्तु फैमिली मेंबर्स और अन्यो को लॉकर खोलने की परमिशन नहीं मिलेगी।

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बैंक और ग्राहक ऐसे जिम्मेदार होंगे

नए नियमो के अनुसार लॉकर मालिक को काफी राहत मिल रही है। ज्यादातर मौको पर लॉकर में होने वाले नुकसान पर बैंक ही जिम्मेदारी लेकर भरपाई करेंगे। किन्तु भूकंप, बाढ़ इत्यादि प्राकृतिक आपदा होने पर लॉकर की हानि में बैंक की जिम्मेदारी नहीं रहेगी और ये हानि ग्राहक को वहन करनी होगी।

किन्तु बैंक में आगजनी, चोरी, डकैती, बिल्डिंग गिरने इत्यादि के मामलों में बैंक को होने वाली हानि को वहन करना होगा चूँकि इन घटनाओं को बैंक रोक सकता है। बैंक का जिम्मा लॉकर के सालाना किराए के 100 गुना तक रहेगी। यानी वार्षिक 1,000 रुपए देने पर बैंक से राहत राशि 1,00,000 रुपए ही मिलेगी।

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