भारत के उन सभी कर्मचारियों को, जो 30 जून या 31 दिसंबर को सेवानिवृत्त हो चुके हैं, एक अतिरिक्त इंक्रीमेंट का लाभ दिया जाएगा। यह फैसला भारत पेंशनभोगी समाज द्वारा भारत के नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (CAG) के आदेश का हवाला देकर केंद्र सरकार से मांग करने के बाद आया है। पेंशनभोगी समाज ने केंद्र सरकार से जल्द से जल्द सभी के लिए यह आदेश जारी करने की अपील की है।
रेलवे बोर्ड का आदेश
रेलवे बोर्ड ने 09 फरवरी 2024 को एक आदेश जारी किया जिसमें ऐसे कर्मचारियों को एक अतिरिक्त इंक्रीमेंट देने की बात कही गई थी। हालांकि, इस आदेश में स्पष्ट किया गया कि यह लाभ केवल उन्हीं को मिलेगा जिन्होंने अदालत में केस जीता है। इस फैसले ने पेंशनभोगियों के बीच असमंजस की स्थिति पैदा कर दी है क्योंकि सभी को इस लाभ का फायदा नहीं मिल रहा है।
दिल्ली हाईकोर्ट के फैसले का उल्लंघन
रेलवे बोर्ड का यह आदेश दिल्ली हाईकोर्ट के फैसले के विपरीत है। दिल्ली हाईकोर्ट ने मदनमोहन ध्यामी के केस में (याचिका संख्या WP (C) 173/2020) यह निर्णय दिया था कि सभी पेंशनभोगियों को एक अतिरिक्त इंक्रीमेंट का लाभ मिलना चाहिए, चाहे उन्होंने अदालत का सहारा लिया हो या नहीं। अदालत ने यह भी कहा कि अलग-अलग आवेदन देने से न्यायालय का समय बर्बाद होता है।
सुप्रीम कोर्ट का फैसला
सुप्रीम कोर्ट ने भी अपने फैसले में कहा था कि ऐसे कर्मचारी जिन्होंने 12 महीने की सेवा पूरी की है, उन्हें एक अतिरिक्त इंक्रीमेंट का लाभ मिलना चाहिए। यह उनके कठिन परिश्रम का फल है और इसे देने से इनकार नहीं किया जा सकता।
केंद्र सरकार का रुख
सुप्रीम कोर्ट और दिल्ली हाईकोर्ट के फैसले के बावजूद, केंद्र सरकार यह लाभ केवल उन्हीं पेंशनभोगियों को देती है जिन्होंने अदालत में केस जीता है। हालांकि, इस मामले को वित्त विभाग के पास भेजा गया है और जल्द ही इस पर निर्णय लिया जाएगा। अगर सब कुछ ठीक रहा, तो DOPT द्वारा अंतिम आदेश जारी किया जाएगा।
पेंशनभोगियों की मजबूरी
यदि केंद्र सरकार 1 जुलाई/1 जनवरी इंक्रीमेंट का लाभ नहीं देती है, तो पेंशनभोगी अदालत का सहारा लेने के लिए मजबूर होंगे। इससे अदालतों पर दबाव बढ़ेगा और लाखों केस फाइल हो सकते हैं। अदालत पहले ही साफ कर चुकी है कि इस तरह के मामलों में सभी को लाभ मिलना चाहिए।
नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक की सराहना
भारत के नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक ने 18 जनवरी 2024 को एक परिपत्रक जारी किया जिसमें कहा गया कि सभी कोर्ट केस और नॉन कोर्ट केस वाले कर्मचारियों को एक अतिरिक्त इंक्रीमेंट का लाभ दिया जाना चाहिए। इस कदम की व्यापक सराहना हो रही है।
भारत पेंशनभोगी समाज की मांग
भारत पेंशनभोगी समाज ने केंद्र सरकार से मांग की है कि सभी पेंशनधारकों के लिए एक सामान्य परिपत्रक जारी किया जाए ताकि सभी को इसका लाभ मिल सके और पेंशनधारकों के असमंजस को दूर किया जा सके। कोर्ट केस में सभी के पैसे की बर्बादी होती है, इसलिए शीघ्र निर्णय लेकर केंद्र सरकार को पेंशनधारकों के साथ न्याय करना चाहिए।