हर 4 में से 1 व्यक्ति जॉब छोड़ने की सोच रहा है…इस बात के कारणों को जाने

पिछले कुछ सालों में नौकरी एवं महँगाई के मुद्दे आम से लेकर खास लोगो की जुबान पर दिखे है। सरकार ने अपनी नीतियों से इस समस्या के समाधन के काफी प्रयास भी किये है। किन्तु अभी एक सर्वे में सामने आ रहा है कि हर चौथा व्यक्ति अपनी नौकरी से खुश नहीं है और इसकी वजह है बढ़ती महँगाई।

काफी लोगो को लगने लगा है कि वे अपनी जॉब की इनकम से घर का खर्च और EMI का बोझ वजन न कर सकेंगे और उनको अपना खुद का काम शुरू करना चाहिए। रूस और यूक्रेन में युद्ध होने बाद सही भारत में भी बहुत से लोग महँगाई से जूझ रहे है।

PWC की रिपोर्ट में दावे हुए

भारत सहित विश्वभर के विभिन्न केंद्रीय बैंक द्वारा पिछले डेढ़ सालो में ब्याज दरों में काफी अधिक वृद्धि की गई है। महँगाई एवं इन बढ़ती ब्याज दरो ने वैश्विक आर्थिक उन्नति के मार्ग में बाधा डाली है। इस वजह से ही बेरोज़गारी भी बढ़ी है किन्तु PWC की रिपोर्ट ये बात सामने लती है कि महँगाई के कारण लोग जॉब छोड़ रहे है।

जॉब छोड़ने का मुख्य कारण दुनियाभर के जॉब धारक आर्थिक तंगी और महँगाई के कारण वेतन से खर्चा चला पाने में असमर्थ है। इस तरह से उनकी सेविंग भी समाप्त हो रही है और उनको अपनी जॉब छोड़नी पड़ रही है। कुछ लोग अगले वर्ष में नकारी छोड़ने की प्लानिंग कर चुके है।

अच्छे आय विकल्प की जरुरत

अब सवाल ये आता है कि जॉब करने वाले लोगो का सैलरी में गुजारा न होने की दशा में वे क्या करने वाले है? इस रिपोर्ट में इसको लेकर बताया है कि विश्व भर में 26 फ़ीसदी जॉब धारक यानी कि लगभग हर 4 में से 1 वव्यक्ति नए साल में अपनी जॉब छोड़कर कोई दूसरा काम तलाश करेंगे। महँगाई से वे अपने खुद का काम करने को मजबूर है।

वेतन से घर खर्चा मुश्किल हो गया

पीडब्ल्यूसी की इस रिपोर्ट में एक नमूना भी दिया है कि मने ब्रिटेन में 47 प्रतिशत कर्मचारी ने माह के ख़त्म होने पर कुछ सेविंग की बात मानी किन्तु 15 प्रतिशत ने माना कि वे अपने घर के सभी बिल नहीं दे सके। इस तरह से उनके समक्ष जॉब छोड़ने के अलावा अन्य कोई ऑप्शन नहीं रह गया है।

जानकारों की राय में आज के टेंशन और आर्थिक तंगी के समय में लोग परिवर्तन से भी घबराते है। वेतन से घर खर्च न दे पाने के बाद भी लोग जॉब छोड़ने से डरते है चूँकि नए कार्य में सफलता की निश्चित गारण्टी नहीं है। इस तरह से वेतन से होने वाले इनकम के आगे होने की आशा भी संदिग्ध रहती है।

हरित ऊर्जा से जॉब जाने वाली है

आने वाले समय में जॉब की तंगी थोड़ी बढ़ने का मुख्य कारण विभिन देशो का ग्रीन एनर्जी को लेकर आगे बढ़ना है। भारत एवं चीन में बहुत से लोगो को खनन इंडस्ट्री में जॉब मिल रहा है। किन्तु दाल 2035 तक सिर्फ खनन इंडस्ट्री में ही 4 लाख जॉब समाप्त हो चुकी होंगी। इस तरह से हर दिन 100 जॉब गायब होगी।

अमरीका में वैश्विक ऊर्जा की रिपोर्ट के अनुसार कोल इण्डिया (Coal India) में इस सेंचुरी के आधे समय तक 800 के लगभग जॉब समाप्त हो जाएगी। इसी प्रकार से कोयला इंडस्ट्री में 37% लोगो को निकाला जाएगा। चीन के शांक्त्सी स्टेट में भी साल 2050 तक लगभग 2.42 लाख जॉब समाप्त होगी।

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30% भारतीय नए जॉब को तैयार – PWC India

रिपोर्ट के अनुसार भारत के 71 फ़ीसदी कर्मचारी अपनी जॉब में तरक्की को लेकर इग्नोर किये जाने से काफी परेशान है। 34 फ़ीसदी लोगो का कहना है कि वे अपने नए नियोक्ता के पास जाने को तैयार है और इसको के दुनिया की दर 19 फ़ीसदी ही है।

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